प्रधानमन्त्री जी के नाम मेरा खुला ख़त ….
✍🏻 Dr Manju Dagar Chaudhary
मेरे सोये हुए प्रिय प्रधानमंत्री जी ….
वक़्त गुजर जाने से पहले जागिए। आप की तरफ आपके 140 करोड़ भारतीय देख रहें हैं। अभी तो आप श्री राम को सुप्रीम कोर्ट से प्रमाणित करवा कर लाये हैं, लेकिन देखिएगा कहीं नेपाल में न गवा बैठे। ये सीधा-सीधा आपकी संस्कृति का हरण किया जा रहा है और आप मूक दर्शक बने बैठे है। प्रधानमंत्री जी आपके ऑफिस से प्रेस रिलीज़ निकलवाइये और निंदा कीजिये साथ ही नेपाल को रोकिये ऐसा करने से वरना आज कल यूनाइटेड नेशन्स में पाकिस्तान द्वारा आये दिन आरएसएस (RSS ) पर हिन्दू संस्था की तोहमत भी लगवा चुके आप फिर मिलियंस ऑफ़ रुपया लगा देंगे आरएसएस ( RSS ) को पाक -साफ करने के नाम पर इसके PR के नाम पर और डैमेज कण्ट्रोल करने पर। ये पैसे का खेल राजनीति तक ही रखिए।
अतीत से सीखिए, बात हमारी संस्कृति की है….
भारतीय संस्कृति पर होते हमले पर पैसे से मत खेलने की सोचिये। वक़्त पर पैसा धोख़ा दे सकता है लेकिन संस्कृति नहीं। क्योंकि एक दौर था जब हम नालंदा नहीं बचा पाए थे , गौतम बुद्ध के नाम पर कई देश बन गए लेकिन अपने देश में हम उनको नहीं खोज पाते। चाणक्य को राजनीति का पितामह कहा जाता है लेकिन भारत वर्ष में उनके निशान नहीं खोज पाते। सम्राट अशोक के नाम पर अशोक चक्र भारत का शांति के समय दिया जाने वाला सबसे ऊँचा वीरता पदक देते हैं। यह सम्मान सैनिकों और अर्धसैनिक बल के जवानों को असाधारण वीरता, शूरता या बलिदान के लिए दिया जाता है। इसे मरणोपरान्त भी दिया जा सकता है। दूसरी तरफ भारत में वाराणसी सारनाथ संग्रहालय में संरक्षित अशोक लाट को भारत के राष्ट्रीय प्रतीक के रूप में अपनाया गया है। भारत का राजचिह्न, भारतीय पहचान और विरासत का मूलभूत हिस्सा है। विश्व भर में बसे भारतीय इन राष्ट्रीय प्रतीकों पर गर्व करते हैं क्योंकि वे प्रत्येक भारतीय के हृदय में गौरव और देश भक्ति की भावना का संचार करते हैं। तिरंगे की शान धर्म चक्र भी तो उन्हीं के राज्य से लिया गया लेकिन सम्राट अशोक का इतिहास नहीं खोज पाते अपने ही देश में। संयुक्त राष्ट्र में आपने ही कहा था हमनें उन्हें बुद्ध दिया और उन्होंने हमें युद्ध दिया। तब अपने श्री राम को बचाइये वरना ऐसा न हो राम मंदिर तो बने अयोध्या में और राम के चिन्ह खोजे जाएँ नेपाल में। अपनी आने वाली पीढ़ियों के लिए सुरक्षित कीजिये हमारे अपने राम को अपने ही भारत वर्ष में। आज हमारे पास न बुद्ध के चिन्ह मौजूद हैं और न राम के। जागिये सरकार जागिये।
हम आपको बता दे कि कम्युनिस्ट चीन के इशारे पर नाच रहे नेपाल के प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली ने एक बार फिर से अयोध्या का राग अलापा है। भारत की अयोध्या नगरी को नकली बताने वाले नेपाली पीएम चितवन जिले में 40 एकड़ की जमीन पर अयोध्यापुरी धाम का निर्माण करने जा रहे हैं। इसके लिए जमीन भी आवंटित कर दी गई है। इससे पहले ओली ने भारत की अयोध्या को नकली बताया था और दावा किया था कि असली अयोध्या नेपाल के चितवन जिले के माडी में स्थित है। सूत्रों से पता चला है कि अयोध्यापुरी धाम के निर्माण के लिए मास्टर प्लान तैयार कर लिया गया है और जल्द ही एक विस्तृत रिपोर्ट तैयार कर ली जाएगी।
लेखिका, आयरलैंड में पत्रकार हैं।